दिवाली देश का सबसे बड़ा त्योहार है, जिसका इंतजार करोड़ों लोगों को रहता है. इस महापर्व की शुरुआत हर साल धनतेरस से हो जाती है. यह त्योहार दिवाली पूजन से 2 दिन पहले आता है. प्रत्येक वर्ष कार्तिक महीने की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को यह पर्व मनाया जाता है. इस दिन मां लक्ष्मी और भगवान धन्वंतरी की पूजा करने का विधान है. इस बार यह त्योहार 29 अक्टूबर को मनाया जा रहा है. इस दिन बर्तन, सोना- चांदी समेत कई चीजें खरीदी जाते हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि कुछ चीजें ऐसी हैं, जिनकी गलती से भी धनतेरस पर खरीद नहीं करनी चाहिए वरना घर में अशुभ नक्षत्र शुरू हो जाते हैं और परिवार पर अनिष्ट का साया पड़ जाता है. आइए जानते हैं कि वे चीजें कौन सी हैं.
धनतेरस पर क्या नहीं खरीदना चाहिए?
सिंथेटिक चीजें
ज्योतिष शास्त्रियों के मुताबिक धनतेरस पर प्लास्टिक या सिंथेटिक से बनी चीजें नहीं खरीदनी चाहिए. ये चीजें वास्तु शास्त्र के हिसाब से शुभ नहीं मानी जाती. इन चीजों को घर में सकारात्मक ऊर्जा के प्रवेश में बाधक माना जाता है. लिहाजा धनतेरस पर इन्हें खरीदने से बचें.
पुरानी चीजें
धनतेरस जैसे शुभ अवसर पर पुरानी चीजें खरीदने से बचना चाहिए. ऐसी चीजें कई बार अपने साथ नकारात्मक ऊर्जा, पुराने विचार या परेशानियां लेकर आ सकती हैं. लिहाजा कोशिश करें कि इस पर्व पर नई और साफ-सुथरी चीजों को ही अपने घर में प्रवेश करने दें, जिससे सालभर आपके घर खुशियां महकें.
काले रंग की चीजें
धनतेरस को खुशियों और उमंगों का पर्व माना जाता है. इस दिन काले रंग की चीजें खरीदना अशुभ माना जाता है. इसकी वजह ये है कि वास्तु शास्त्र में काले रंग की चीजों को अशुभ माना जाता है. लिहाजा इस दिन काले रंग का बैग, जूते, कपड़े न ही खरीदें तो परिवार के लिए अच्छा रहेगा.
कांच के बर्तन
ज्योतिषाचार्य के अनुसार, कांच के बर्तन और आसानी से टूट जाने वाले होते हैं. इन्हें घर में लाने से हर वक्त उनके टूटने का खतरा बना रहता है. लिहाजा धनतेरस जैसे शुभ अवसर पर इन्हें खरीदने से बचना चाहिए. इन्हें घर पर लाने से परिवार की सुख-शांति भंग हो सकती है.
लोहे की चीजें
वास्तु शास्त्र के मुताबिक, धनतेरस पर लोहे से बनी चीजें कभी नहीं खरीदनी चाहिए. लोहे की प्रकृति को ठंडा और वजन में भारी माना गया है. जिसके चलते घर में इससे बनी चीजें लाने पर परिवार के लोगों का उत्साह भी ठंडा पड़ने लग जाता है. धनतेरस पर कोई नुकीली चीज खरीदने से भी बचना चाहिए.
धनतेरस 2024 पर पूजा का शुभ मुहूर्त
ज्योतिषियों के मुताबिक, इस बार धनतेरस पर्व यानी त्रयोदशी तिथि की शुरुआत 29 अक्टूबर मंगलवार को सुबह 10:34 बजे से हो रही है. वहीं इसका समापन बुधवार 30 अक्टूबर 2024 को दोपहर 1:17 बजे होगा. अगर धनतेरस पर पूजा के शुभ मुहूर्त की बात की जाए तो 29 अक्टूबर को शाम 6:31 बजे से 8:13 बजे तक रहेगा. ऐसे में आप 1 घंटा 41 मिनट में आराम से भगवान धन्वंतरी, गणेश और कुबेर जी की पूजा कर सकते हैं.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. रेवांचल टाईम्स इसकी पुष्टि नहीं करता है.)