अबैध रेत का भंडारण बना अलादीन का चिराग़ जो कभी कम ही नही हो रहा…

भंडारण की अनुमति किसको.. और तो बिना बोर्ड और अनुज्ञा के रेंज के सामने से हो रहा परिवहन..

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रेवांचल टाइम्स – मंडला, आदिवासी बाहुल्य मंडला जिले में इन दिनों जहाँ देखो वहां से रेत निकाली जा रही है रेत माफियाओं के द्वारा आज वन भूमि हो राजस्व भूमि हो या फिर किसी की ग्रामीण की निजी भूमि हो सब से अंधा धुंध रेत का खनन और परिवहन का कार्य चल रहा है, न कोई नियम और न कोई कानून जो है वह सब रेत माफियाओं की जेब में होकर रह गया हैं, पुनः वंशिका कंस्ट्रक्शन को ठेका तो मिलने की जानकारी प्राप्त हो रही पर उस की आड़ में जिले के अबैध रेत चोर भी हावी हो चुके है रेत चोर उन नदी नालों से रेत की चोरी की जा रहा है जहाँ पर रेत खदानें स्वीकृत नही औऱ वन भूमि से जो नदियां नाले संचालित हो रहें अब सब मे रेत चोरों ने अपना कब्जा जमा लिए औऱ पूरी रात नदी का सीना छलनी करते हुए रेत का खनन कर नदी नालों से कुछ ही दूरी पर अबैध भंडारण कर रहे है यह रेत का अबैध भंडारण, किसी की निजी भूमि और सरकारी की भूमि में और तो क्रेशरों में पड़ी खाली भूमि पर अबैध रेत का डंप किया जा रहा जहाँ पर न कोई बोर्ड़ है और न भंडारण करने की अनुमति प्राप्त है फिर भी इन रेत माफियाओं के द्वारा किये गए जगह जगह रेत के अबैध डंप आसानी से देखे जा सकते है और रेत खदानें स्वीकृत होने के बाद से रेत चोर लगातार जंगल जमी बीट गार्ड औऱ परिक्षेत्र अधिकारी की सहमति से सफेद सोना का काला खेल चल रहा हैं।


वही सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार मंडला जिले की तहसील मुख्यालय घुघरी में नहीं रुक हो रहा अवैध रेत का खनन औऱ परिवहन औऱ रेत का किया जा रहा है, भंडारण औऱ रेत के अनेकों जगहों पर छोटे बड़े डंप के भंडारण बड़ी आसानी से देखे जा रहे रात को नदी से चोरी की रेत को दिन के उजाले में बड़ी आसानी से बेच रहें हैं, क्या घुघरी में अबैध रेत का खनन और भंडारण की आखिरकार खनिज विभाग को क्यों नही है और अगर तो इन छोटे बड़े रेत के भंडारण पर कार्यवाही क्यो नही कि जा रही है क्या जो रेत जगह जगह रखी हुई है, उन्हें विभाग ने अनुमति दे रखी है, या फिर ये जो जगह जगह रेत के टापू बना कर रखें हुए है और उसका जो परिवहन हो रहा है वो भी रेंज आफिस के सामने से आखिर ये रेत का खनन औऱ परिवहन किसके संरक्षण पर चल रहा है, ये जनचर्चा का विषय बना हैं।

अवैध रूप से जगह जगह रेत छोटे बड़े टापू औऱ भंडारण बना जनचर्चा का विषय

वहीं देखा जाये तो तहसील मुख्यालय घुघरी के आसपास जगह जगह चाहे शासकीय भूमि हो या निजी भूमि जगह जगह रेत का भंडारण करके रखा गया है लेकिन न ही खनिज विभाग के द्वारा किस किस को भंडारण की अनुमति दी गई है और अनुमति मिली है तो बोर्ड या अनुज्ञा भी भंडारण की जगह पर नहीं लगाया गया है..
वहीं नाम न बताने की शर्त पर ग्रामीण जनों ने बताया कि तहसील मुख्यालय घुघरी की सभी खेत खदानें जो वर्तमान में बंद हैं वहां से भी अवैध रेत निकासी चालू लेकिन आज तक किसी भी रेत खदान पर वन विभाग के द्वारा या फिर खनिज, औऱ न ही राजस्व विभाग के द्वारा कारवाई नहीं की गई जबकि राजस्व विभाग की ओर से रात में सतत निगरानी मुख्यालय पटवारी के द्वारा समय समय पर की जाती है. लेकिन वन विभाग की जमीन पर कार्रवाई करेगा कौन…या फिर देखते हुए भी वन विभाग आंखे मूंदकर कार्य कर रहे हैं..

भंडारण की रेत पर डस्ट डालकर करते हैं परिवहन..

वैसे देखने वाली बात ये है कि जगह जगह रेत भंडारण होते हुए भी आज तक खनिज विभाग के द्वारा कारवाई नहीं की गई है और परिवहन का भी अजब गजब तरीका रेत चोरों ने अपना लिया है कि रेत के उपर क्रेशर की गिट्टी की डस्ट डालकर बेखौफ परिवहन करते हैं। औऱ वही रेत माफियाओं के द्वारा जो चोरी की रेत के ऊपर डस्ट डालकर ढोई जा रही है जहाँ पर स्थानीय प्रशासन की आखों में धूल झोंक जा रहा है

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