ग्रामीणों से अभद्रता करने वाले रोजगार सहायक की अधर में लटकी जांच,जनपद में की गई थी शिकायत….
रेवांचल टाईम्स – आदिवासी बाहुल्य जिले में आज ग्रामीणों की सुनने वाला कोई नही है गरीब अपनी समस्याएं सुनाए भी तो किसे क्योंकि सब अपना अपना हिस्सा बटोरने में लगे हुए और सरकारी धन की लूट मची हुई हैं वही जानकारी के अनुसार ग्रामीणों ने लगाया आरोप, काम के बदले मुर्गा और शराब की करता है मांग
दो माह बीतने के बाद भी,प्रतिवेदन तैयार नहीं कर पाया जांच दल
बजाग बीते दो माह पूर्व जनपद पंचायत अंतर्गत ग्राम पंचायत गिरवरपुर के रोजगार सहायक द्वारा ग्रामीणों से अभद्र व्यवहार करने का मामला प्रकाश में आया था जिसकी लिखित शिकायत स्थानीय ग्रामीणों ने जनपद कार्यालय बजाग के मुख्यकार्यपालन अधिकारी से की थी उक्त शिकायत के दृष्टिगत जनपद सीईओ ने जांच के आदेश दिए थे जिस हेतु दो सदस्यीय टीम भी गठित की गई। परंतु ग्रामीणों द्वारा रोजगार सहायक के विरुद्ध की गई शिकायत को गंभीरता से न लेते हुए एक तो जांच में लेट लतीफी की गई।और जांच के नाम पर 11 जुलाई को ग्राम पंचायत पहुंचे जांच दल ने ग्रामीणों की उपस्थिति में उनके बयान लेकर पंचनामा भर तैयार कर लिया। यानि की जांच के नाम पर सिर्फ और सिर्फ खानापूर्ति कर ली गई। हैरानी की बात यह है की पंचनामा तैयार करने बाद एक माह बीतने को है फिर भी जांच दल अभी तक उक्त शिकायत का प्रतिवेदन तैयार नहीं कर पाया है हालाकि जांच दल ने इस बात को माना है की ग्रामीणों द्वारा की गई शिकायत लगभग सही पाई गई हैं सवाल यह है की जब रोजगार सहायक के विरुद्ध की गई शिकायत सही है फिर जनपद के अधिकारी संबंधित के विरुद्ध कार्यवाही करने में किस बात की देर कर रहे हैं । इस मामले में ग्रामीणों ने जांच दल पर गुमराह करने का आरोप लगाया है और अब इसकी शिकायत जिला प्रशासन को करने की बात कही जा रही हैं इस पूरे मामले को लेकर यह देखा जा रहा हैं कि सरकारी तंत्र में नौकरशाही किस कदर व्याप्त हैं तथा सरकारी नुमाइंदों का जनता के प्रति बेरुखी पूर्ण व्यवहार हैरान कर देने वाला है बीते दिनों ग्रामीणों ने आरोप लगाते हुए शिकायत की थी कि जनपद पंचायत अंतर्गत ग्राम पंचायत गिरवरपुर माल के रोजगार सहायक जो की ग्रामपंचायत में शासकीय कार्य से आए हितग्राहियों से दादागिरी करने पर उतारू हैं ग्रामीणों ने रोजगार सहायक पर शराब पीकर अभद्र व्यवहार करने का आरोप भी लगाया था उक्ताशय की शिकायत ग्रामीणों ने 22 मई को कार्यालय मुख्य कार्यपालन अधिकारी से की थी है ग्रामीणों ने ग्राम पंचायत में पदस्थ रोजगार सहायक केहर सिंह मरावी की कार्यप्रणाली से तंग आकर जनपद सीईओ कार्यालय को दिए गए हस्ताक्षरयुक्त लिखित आवेदन में उल्लेखित किया था कि रोजगार सहायक ग्राम पंचायत में शासकीय कार्यों से आने वाले हितग्राहियों से गाली गलौच भी करता है राशन पर्ची बनवाने या किसी भी योजना का लाभ प्रदाय करने के एवज में मुर्गा और दारू की मांग करता है रोजगार सहायक की फरमाइश पूरी न करने वाले हितग्राहियों को उसके गुस्से का सामना भी करना पड़ता है ग्रामीणों ने आरोप लगाया था कि रोजगार सहायक के द्वारा पंचायत में संचालित योजनाएं का लाभ सिर्फ अपने परिवार के लोगो तक पहुंचाया जा रहा हैं ग्राम पंचायत के सदस्यों द्वारा शासकीय कार्यों की जानकारी लेने पर रोजगार सहायक द्वारा उनसे भी अभद्र व्यवहार किया जाता हैं ग्रामीणों ने यह भी आरोप लगाया है की उक्त व्यक्ति द्वारा शासकीय योजनाओं के पात्र हितग्राहियों को गुमराह किया जाता हैं और उनका नाम नही जोड़ा जाता।ग्रामीणों ने बताया की रोजगार सहायक सफ्ताह में दो तीन दिन ही कार्यालय में उपस्थित होता है और वह भी शराब पीकर आता है रोजगार सहायक की कार्यप्रणाली से तंग ग्राम के ग्रामीणों ने मुख्यकार्यपालन अधिकारी से रोजगार सहायक को हटाने की मांग की थी इस मामले में अब कार्यवाही न होते देख ग्रामीणों ने उक्ताश्य की शिकायत जिला प्रशासन से करने की बात कही है!
इनका कहना है…
जांच करने गए थे रोजगार सहायक की गैर हाजरी में पंचनामा तैयार किया गया था ग्रामीणों द्वारा की गई शिकायत प्राय :प्राय: सही पाई गई हैं जांच प्रतिवेदन बन नही पाया है अशोक कूड़ापे , जांच दल के अधिकारी