समूह हुआ कंगाल स्टाफ हुआ मालामाल उपार्जन के काम से, और जिम्मेदार मौन…
रेवांचल टाईम्स – मण्डला, आदिवासी बाहुल्य जिले मंडला में ज़िम्मेदारों की मनमानी चरम में और विभाग जिम्मेदार और जनप्रतिनियो का इस ओर ध्यान न देना इनकी मनमानी को और बढ़ा रही हैं।।
वही सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार विगत कुछ सालों से स्व सहायता समूह की गरीब आदिवासी महिलाओं को रवि और खरीब की फसल में उपार्जन के काम दिया गया ताकि गरीब आदिवासी महिलाएं आगे बढ़ सके मगर मण्डला जिले में दिए गए लगभग 18 समूहों को देखने के बाद लगता है कि मालामाल की जगह समूह कंगाल ही हुआ है जबकि स्टाफ के लोगो का उपार्जन का काम मिलने के बाद से चहुमुखी विकास हुआ है जिसके कारण गांव गांव चर्चा है कि समूह हुए कंगाल स्टाफ हुआ मालामाल । सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार उपार्जन का काम निवास, नैनपुर, बीजाडांडी, मण्डला, बिछिया,के स्व सहायता समूह को दिया गया था जिन समूह की महिलाओं को देखने के बाद लगता है इनका कितना विकास हुआ है । वही बी एम नोडल सहायक ब्लॉक प्रबधक जिला प्रबधक कहा से कहा पहुँच गए यह जांच का विषय है ।
जबलपुर में हुई कार्यवाही मंडला में कब होगी।
वही देखने मे आया कि जबलपुर कलेक्टर ने उपार्जन के काम मे गोलमाल करने वाले लगभग आधा सैकड़ा लोगो पर कार्यवाही की और अभी भी सही काम करने के निर्देश दिए है मगर मण्डला में आदिवासी महिलाओं के शोषण करने वालो के ऊपर कब कार्यवाही होगी यह प्रतिछा जिले की जनता कर रही है कुछ समूहों ने नाम न छापने की शर्त में बताया कि अभी कुछ दिनों बाद शुरू होने वाले उपार्जन के काम मे कलेक्टर महोदय को ध्यान देना चाहिए और पूरी नजर रखना चाहिए कि इस काम मे किसका विकास हो रहा हैओ समूह के नाम से कौन पैसा कमा रहा है साथ ही पूर्व में भी हुए उपार्जन के काम की जांच करनी चाहिए जिससे यह सामने आ जायेगा कि समूहों का शोषण कैसे हो रहा है और समूह के शोषण करने वालो पर कार्यवाही करनी चाहिए जिस तरह से जबलपुर के कलेक्टर ने की।
इनका कहना है—-
समस्त समूह की महिलाओं को मेरा नंबर दे दीजिये मैं दिखवाता हूँ ।
सोमेश मिश्रा
कलेक्टर मण्डला।
अगर ऐसा किया जा रहा है तो जांच कराई जाएगी और दोषियों पर कार्यवाही कराई जावेगी ।
फग्गन सिंग कुलस्ते
सांसद मण्डला
वही जब इस पूरे मामले में जब समूहों के अधिकारी बी डी भेसारे से संपर्क करना चाहा और अनेको बार फोन में संपर्क करने का प्रयास किया गया तो उनने फोन नही उठाया जिस कारण से उनका पक्ष नही रखा गया।
