अनुसूचित जनजाति बाहुल्य जिला मण्डला में हुआ डिलिस्टिंग के विषयों पर गुप्त बैठक। युवा नेतृत्व सुरेन्द्र सिंह सिरश्याम ने उठाया सवाल…
भारतीय संविधान में आर्टिकल 342 में संशोधन होने से आदिवासी जनजाति समुदाय की जनसंख्या होगा कम
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रेवांचल टाईम्स – मंडला, जिले विकास खण्ड नैनपुर इन दिनों मण्डला में बड़ी जोरों से चल रही डिलिस्टिंग पर अचानक जनजाति समुदाय के बीच आक्रोश सूत्रों के द्वारा जानकरी मिलते ही डिलिस्टिंग पर जनजाति समुदाय के भाईयों द्वारा प्रेस वार्ता हुआ वहीं इस प्रोपेगंडा को पढ़े लिखे आदिवासी जनजाति समुदाय तो समझा या नहीं समझा परन्तु आदिवासी भाईयों के बीच सवाल पैदा हो रहा है खास गुप्त जानकारी के बाद आदिवासी समुदाय के युवा नेतृत्वकर्ता जो हर समय सामाजिक न्याय आंदोलन पर समाज हित पर खरा उतरता है युवा सुरेन्द्र सिंह सिरश्याम ने डिलिस्टिंग की प्लानिंग को किया खुलासा उन्होंने बताया कि गुप्त जानकारी के माध्यम से पता चला है कि आर एस एस प्रमुख मोहन भागवत पूर्व में जब मण्डला आया लोकसभा चुनाव के पहले और आर एस एस के चौंतीस संगठनों के प्रमुखों की मिटिंग रखा गया उस मिटिंग में हर संगठनों के प्रमुखों को काम सौंपकर चले गए उन्हीं कामों में से एक अनुसूचित जनजाति सुरक्षा मंच के माध्यम से आदिवासी जनजाति को तोड़ने के लिए डिलिस्टिंग के विषय पर प्रोपेगंडा रचा गया,हमारे आदिवासी भाईयों के द्वारा लाया गया जो कि न्याय उचित नहीं है क्योंकि हमारे भाई हिन्दू, ईसाई, बौद्ध, जैन, फारसी, में समावेशित है क्या हिन्दू धर्म समावेशित भाई ही अनुसूचित जनजाति आदिवासी में रहेगा बाकी धर्म मनाने वाले आदिवासी भाईयों को अनुसूचित जनजाति से डिलीट कर दिया जाएगा, जो फिर आदिवासियों की जनसंख्या स्वाभाविक है कि भारत देश में कम होगा इससे साफ सिद्ध होता है कि भारत को हिन्दू राष्ट्र बनाने की सोची-समझी आर एस एस की चाल है